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भग

विक्षनरी से

प्रकाशितकोशों से अर्थ

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शब्दसागर

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भग संज्ञा पुं॰ [सं॰]

१. योनि ।

२. सूर्य ।

३. बारह आदित्यों में से एक ।

४. ऐश्वर्य ।

५. छह प्रकार की विभूतियाँ जिन्हें सम्य- मैश्वर्य, सम्यगबीर्य सम्यग्यश, सम्यगश्रिव और सम्यगज्ञान कहते हैं ।

६. इच्छा ।

७. माहात्म्य ।

८. यत्न ।

९. धर्म ।

१०. मोक्ष ।

११. सौभाग्य ।

१२. कांति ।

१३. चंद्रमा ।

१४. धन ।

१५. गुदा ।

१६. पूर्वाफाल्गुनी नक्षत्र ।

१७. एक देवता का नाम । पुराणानुसार दक्ष के यज्ञ में वीरभद्र ने इनकी आँख फोड़ दी थी ।

१८. शिव का एक रूप [को॰] ।

१९. उत्तरा फाल्गुनी नक्षत्र (को॰) ।

२०. अंडकोश और गुदा का मध्य भाग (को॰) ।